शिक्षक/प्रधान पाठक(मिडिल) पदोन्नति पश्चात वेतन निर्धारण

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शिक्षक/प्रधान पाठक(मिडिल) पदोन्नति पश्चात वेतन निर्धारण : शिक्षक (UDT) पदोन्नति पश्चात कैसे होगा वेतन निर्धारण ? (Head Master Pramotion )

पोस्ट विवरण

शिक्षक/प्रधान पाठक(मिडिल) पदोन्नति पश्चात वेतन निर्धारण

शिक्षक पदोन्नति पश्चात वेतन लेवल निर्धारण:-

  • वेतन पुनरीक्षण नियम-2017 के तहत सहायक शिक्षक (वेतन लेवल-6) की पदोन्नति शिक्षक(UDT) के पद वेतन लेवल-8 पर होता है।
  • सहायक शिक्षक (ग्रेड पे-2400) की पदोन्नति शिक्षक(UDT) (ग्रेड पे-4200)के पद पर होता है।

वेतनमान निर्धारण चार्ट विवरण:-

शिक्षक/प्रधान पाठक(मिडिल) पदोन्नति पश्चात वेतन निर्धारण
HM वेतन निर्धारण टेबल

शिक्षक(UDT)/प्रधान पाठक(प्रायमरी) वेतनमान चार्टPdf Download

वर्तमान में सहायक शिक्षक संवर्ग की पदोन्नति शिक्षक(UDT) के पद में होना है जिसके लिये वेतन निर्धारण क्या और कैसे होगा उसको इस चार्ट द्वारा विस्तार से बताया गया है। जिसमें-

मौजुदा मूलवेतन शिक्षक(LB):-

इस कॉलम में वर्तमान में प्राप्त मूलवेतन को दर्शाया गया है। जिसके आधार पर अगले लेवल के मूलवेतन का निर्धारण किया गया है। चूँकि किसी पद में 6 महिने या 180 दिन से अधिक सेवा अवधि पूरी हो जाती है तो वेतनवृद्धि की पात्रता होती है। इस आधार पर 1 जुलाई 2018 को संविलियन होने के पश्चात हर साल जुलाई माह में इंक्रीमेंट देय होता है। अत: मौजुदा पद के मूलवेतन में 6 माह से अधिक की अवधि हो चुकी है तो पदोन्नति पश्चात इंक्रीमेंट के साथ अगले लेवल के मूलवेतन का निर्धारण होता है।

मौजुदा कुल वेतन@42DA:-

इस कॉलम में वर्तमान में प्राप्त कुलवेतन को दर्शाया गया है। जिसमें DA, HRA, OA व MA शामिल है ।

कटौती पश्चात मौजुदा कुल प्राप्त वेतन:-

इस कॉलम में वर्तमान में प्राप्त कुलवेतन में कटौती के पश्चात हमारे खाते में जमा होने वाली राशि को दर्शाया गया है ।

पदोन्नत पश्चात शिक्षक(UDT) मूलवेतन:-

सहायक शिक्षक(एल.बी.) संवर्ग के शिक्षकों का पदोन्नत पश्चात मूलवेतन का निर्धारण लेवल-6 के मौजुदा मूलवेतन में एक इंक्रीमेंट के साथ अगले मूल के अनुसार लेवल-8 के मूल का निर्धारण होता है।

जैसे:-

2006 से 2008 नियुक्ति पर मूलवेतन-

  • 2006 से लेकर 2008 तक नियुक्त सहायक शिक्षक जिनका शिक्षक(UDT) में प्रमोशन होना है उन सभी सहायक शिक्षकों का मूल 35400 से कम है अत: इन सभी वर्षों में नियुक्त सहायक शिक्षकों का UDT में लेवल-8 में राशि 35400 पर नये पद का मूलवेतन का निर्धारण होगा ।
  • इन शिक्षकों का मूलवेतन अभी 2022 में इंक्रीमेंट के साथ……
    • 2008 नियुक्ति –का मौजूदा 30300 मूलवेतन है उसके 1 इंक्रीमेंट देय पर मूल 32100 हो जायेगा। जो लेवल-8 में 32100 के बराबर या उससे उच्चतर राशि पर नया मूलवेतन तय होगा । लेवल-8 में वह राशि 35400 होगा जिस पर नये पद का मूलवेतन निर्धारण होगा ।
    • 2007 नियुक्ति – का मौजूदा 32100 मूलवेतन है उसके 1 इंक्रीमेंट देय पर मूल 33100 हो जायेगा। जो लेवल-8 में 33100 के बराबर या उससे उच्चतर राशि पर नया मूलवेतन तय होगा । लेवल-8 में वह राशि 35400 होगा जिस पर नये पद का मूलवेतन निर्धारण होगा ।
    • 2006 नियुक्ति – का मौजूदा 33100 मूलवेतन है उसके 1 इंक्रीमेंट देय पर मूल 34100 हो जायेगा। जो लेवल-8 में 34100 के बराबर या उससे उच्चतर राशि पर नया मूलवेतन तय होगा । लेवल-8 में वह राशि 35400 होगा जिस पर नये पद का मूलवेतन निर्धारण होगा ।

2005 नियुक्ति पर मूलवेतन-

  • 2005 नियुक्ति वाले शिक्षकों का मूल वेतन अभी 2022 में 34100 है उसके 1 इंक्रीमेंट देय पर मूल 35100 हो जायेगा। जो लेवल-8 में 35100 के बराबर या उससे उच्चतर राशि पर नया मूलवेतन तय होगा । लेवल-8 में वह राशि 35400 होगा जिस पर नये पद का मूलवेतन निर्धारण होगा ।

2003-2004 नियुक्ति पर मूलवेतन-

  • 2003-2004 नियुक्ति वाले लगभग सभी सहायक शिक्षक प्रधान पाठक के पद पर पदोन्नत हो चुके हैं |
  • फिर भी किसी शिक्षक ने प्रमोशन नहीं लिया है तो उनका UDT में प्रमोशन होना है |
  • तो 2003-2004 वालों का मौजुदा मूल वेतन इंक्रीमेंट के साथ 35100 है जिसका 1 इंक्रीमेंट पश्चात मूल 36200 होगा जो लेवल-8 में राशि 36500 के मूल पर नये पद का मूलवेतन निर्धारण होगा ।

2001-2002 नियुक्ति पर मूलवेतन-

  • उसी प्रकार 2001-2002 नियुक्ति वाले लगभग सभी सहायक शिक्षक प्रधान पाठक के पद पर पदोन्नत हो चुके हैं |
  • फिर भी किसी शिक्षक ने प्रमोशन नहीं लिया है तो उनका UDT में प्रमोशन होना है |
  • तो 2001-2002 वालों का मौजुदा मूल वेतन 36200 है जिसका 1 इंक्रीमेंट पश्चात मूल 37300 होगा जो लेवल-8 में राशि 37500 के मूल पर नये पद का मूलवेतन निर्धारण होगा ।

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1998-99-2000 नियुक्ति पर मूलवेतन-

  • उसी प्रकार 1998-99-2000 नियुक्ति वाले लगभग सभी सहायक शिक्षक प्रधान पाठक के पद पर पदोन्नत हो चुके हैं |
  • फिर भी किसी शिक्षक ने प्रमोशन नहीं लिया है तो उनका UDT में प्रमोशन होना है |
  • उसी प्रकार 1998-1999-2000 वालों का मूल वेतन 37300 है जिसका 1 इंक्रीमेंट पश्चात मूल 38400 होगा जो अगले लेवल-8 में राशि 38700 के मूल पर नये पद का मूलवेतन निर्धारण होगा ।

पदोन्नति पश्चात शिक्षक(UDT) मूलवेतन:-

इस कॉलम में पदोन्नति पश्चात नये मूलवेतन को दर्शाया गया है।

पदोन्नति पश्चात कुल वेतन:-

अब आपको पदोन्नत पश्चात लेवल-8 का मूलवेतन पता है तो इसके आधार पर आप अपना वेतन गणना कर सकते हैं ।जो कि नियुक्ति वर्ष अनुसार चार्ट में दिया गया है।

पदोन्नति पश्चात प्राप्त वेतन:-

समस्त कटौतियों पश्चात प्राप्त वेतन की गणना कर ऊपर के वेतन चार्ट में दिया गया है जिसमें मंहगाई भत्ता, गृह भत्ता, एवं कटौती के साथ अंतिम खाते में प्राप्त होने वाले वेतन को देखा जा सकता है।

शिक्षक(UDT) पदोन्नति पश्चात वेतन निर्धारण :-

वेतन पुनरीक्षण नियम-2017 के तहत 01 जनवरी, 2016 को या उसके पश्चात् पदोन्नति पर वेतन निर्धारण पुनरीक्षित वेतन संरचना में एक लेवल से दूसरे लेवल में पदोन्नति के मामले में वेतन निर्धारण हेतु जिस लेवल से शासकीय सेवक पदोन्नत होता है, उस लेवल में एक वेतनवृद्धि दी जायेगी और उसे इस पद पर जिसमें पदोन्नति दी गई है, के लेवल में इस प्रकार से प्राप्त राशि के समतुल्य कोटिका में रखा जायेगा और यदि ऐसी कोई कोष्टिका उस लेवल में जिसमें पदोन्नति दी गई है, की बीच उपलब्ध नहीं है तो उस लेवल में अगली उच्चतर कोष्टिका में रखा जायेगा।

वेतन पुनरीक्षण नियम-2017[PDF DOWNLOAD]

वेतन निर्धारण के कारण

वेतन निर्धारण निम्न परिस्थितियों के कारण निर्मित होता है।

  1. शासकीय कर्मचारी के मौलिक या स्थापान्न रूप से प्रथम नियुक्ति होने पर
  2. जब शासकीय कर्मचारी स्थानान्तरण द्वारा एक पद से दूसरे पद पर मौलिक स्थानापन्न रूप से नियुक्त होता है।
  3. जब प्रचलित वेतनमान संशोधित कर नया वेतनमान लागू होता हो।
  4. किसी शासकीय सेवक के पदोन्नत होने के कारण पदोन्नत वेतनमान लागू करें के लिए।
  5. सेवा में व्यवधान फलस्वरूप पुनर्नियुक्ति पर
  6. जब मूल वेतन, वेतन वृद्धि या अन्य किसी कारण से स्थानापन्न वेतन से अधिक हो जाने और वेतन निर्धारण शासकीय कर्मचारी के लिए लाभप्रद हो।
  7. जब कोई शासकीय सेवक दण्ड स्वरूप कनिष्ठ पर पदावनत हो।

शिक्षक(UDT) पदोन्नति पर वेतन निर्धारण का मूल नियम:-

  • मूल नियम 22-डी-कोई शासकीय सेवक जब पदोन्नत होता है। तब उसका वेतन मूल नियम 22-डी के अनुसार निर्धारित किया जाता है।
  • इस नियम के अनुसार, निचले पद के वेतनमान में एक वेतन वृद्धि जोड़कर जो प्रकम आए, उच्च पद के वेतनमान में उससे आगे की स्टेज पर वेतन निर्धारित होगा।
  • यदि कर्मचारी अपने निचले पद के अधिकतम पर है अथवा गतिरोध भत्ते के सहित वेतन आहरित कर रहा है तब भी अंतिम वेतन वृद्धि बराबर वेतन नोशनली (Notionally) बढ़ाया जायेगा।
  • यह नियम स्थाई, स्थानापन्न अथवा अस्थाई सभी प्रकार के शासकीय सेवकों पर लागू होता है।

इन्हें भी देखें-

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