Stipend Ruls : इस पोस्ट में हम जानेंगे :-
- स्टायपेण्ड वेतनमान क्या है?
- नयी नियुक्ति में वेतन निर्धारण के क्या है नियम?
- पूर्व नियम में क्या संशोधन किया गया है?
- वेतन निर्धारण नियम 22C क्या है?
- छत्तीसगढ़ मूलभूत नियम क्या है जानें।
पोस्ट विवरण
स्टायपेण्ड नियम [Stipend Ruls]
![Stipend Ruls स्टायपेण्ड नियम 2020 Stipend Ruls](https://edudepart.com/wp-content/uploads/2023/03/photo-output-1024x575.webp)
स्टायपेण्ड नियम
जुलाई 2020 में छत्तीसगढ़ सरकार ने स्टाइपेण्ड नियम लाई है। इसके तहत अब चयनित शासकीय सेवकों को पहले 3 साल वेतन के बजाय उनके मूल वेतन का 70%, 80% और 90% स्टाइपेंड देने की बात कही गई है।
स्टायपेण्ड नियमानुसार नव नियुक्त शिक्षकों की वेतन चार्ट | Download Here |
नियमों में संशोधन की प्रक्रिया :-
वर्तमान में प्रचलित व्यवस्था में सीधी भर्ती से नियुक्त शासकीय सेवकों को सामान्यतः वेतनमान के न्यूनतम पर 2 वर्ष की परिवीक्षा पर नियुक्त किया जाता है। जिसको राज्य शासन द्वारा संशोधन कर समस्त श्रेणियों के कर्मचारियों की सीधी भर्ती के समस्त पदों, जिसमें लोक सेवा आयोग द्वारा चयन परीक्षा भी सम्मिलित है के लिए छत्तीसगढ़ मूलभूत नियम 22-C में संशोधन कर शासकीय सेवा के सीधी भर्ती के पद पर 3 वर्ष की परिवीक्षा पर रखे जाने एवं परिवीक्षाधीन अवधि पर नियुक्त सेवकों को प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय वर्ष में क्रमशः उस पद के वेतनमान के न्यूनतम का 70%, 80% एवं 90% राशि स्टायपेण्ड के रूप में दिया जाने संबंधी संशोधन राजपत्र पर प्रकाशित किया गया है। परिवीक्षा अवधि सफलतापूर्वक पूर्ण करने पर वेतनमान के न्यूनतम पर वेतन नियत किया जाये। जो कि 28 जुलाई 2020 से प्रभावी होगा।
छत्तीसगढ़ मूलभूत नियम 22-C | Download Here |
किसी सेवा या पद पर सीधी भर्ती द्वारा नियुक्त किसी भी व्यक्ति को प्रथमतः 03 वर्ष की परिवीक्षा अवधि पर रखा जायेगा का प्रावधान किया गया है
छ.ग. सिविल सेवा नियम, 1961 के नियम-8 के उपनियम में संशोधन
संसोधन के बाद नयी भर्ती में निम्न परिवर्तन हुये:-
![Stipend Ruls स्टायपेण्ड नियम 2020 Stipend Ruls](https://edudepart.com/wp-content/uploads/2023/12/image-70.png)
- छत्तीसगढ़ मूलभूत नियम के नियम 22-C(1) के संशोधन के पश्चात सीधी भर्ती के पदों पर चयनित शासकीय सेवकों को तीन वर्ष की परिवीक्षा अवधि में नियत स्टायपेण्ड देय होगा तथा परिवीक्षा अवधि की समाप्ति पर जब वह सेवा या पद पर स्थाई किया जायेगा है, तब शासकीय सेवक का वेतन, उस सेवा या पद को लागू समयमान का न्यूनतम नियत किया जायेगा।
- छत्तीसगढ़ मूलभूत नियम 22 सी (1) में संशोधन पश्चात सेवा में सीधी भर्ती के पद पर 3 वर्ष की परिवीक्षा व उस पद के वेतनमान के न्यूनतम का 70%, 80% एवं 90% राशि स्टायपेण्ड के रूप में दिया जायेगा।
- राजपत्र में प्रकाशन के साथ ही समस्त विभागों के भर्ती नियमों में भी संशोधन की आवश्यकता होगी जब तक समस्त विभागों द्वारा अपने-अपने भर्ती नियमों में संशोधन की कार्यवाही पूर्ण नहीं कर ली जाती तब तक सभी विभागों के भर्ती नियम स्वमेव संशोधित माने जायेंगे।
- इस संबंध में समस्त विभाग को निर्देशित किया गया है कि 02 वर्ष की परिवीक्षा अवधि पर जारी नियुक्ति आदेश को तत्काल प्रभाव से निरस्त करते हुए 03 वर्ष की परिवीक्षा के साथ नियत स्टायपेण्ड पर करने का आदेश जारी करने का निर्देश जारी हुआ है ।
नयी नियुक्ति में 3 वर्ष परविक्षा अवधि का वित्त विभाग का आदेश दिनांक 29-07-2020 | Download Here |
नयी नियुक्ति में 3 वर्ष परविक्षा अवधि का सामान्य प्रशासन विभाग का आदेश दिनाँक-08-03-2021 | Download Here |
Sir। परिवीक्षा अवधि एवं स्टाइपेंड में वेतन वृद्धि का लाभ मिलता है की नही
परविक्षा अवधि के लिये ही स्टायपेंड वेतनमान है पहले 3 साल 70%, 80% व 90% वेतन मिलता है यही तो वेतनवृद्धि है ।
सर अनुकंपा नियुक्ति में स्टाइपेंड नियम के तहत वेतन निर्धारण का कोई दिशानिर्देश नहीं है लेकिन तब भी अनुकंपा नियुक्ति में स्टाइपेंड नियम के तहत 70,80 और 90% के अनुसार वेतन दिया जा रहा। यह सही है या नहीं कृपया मार्गदर्शन दें
अनुकंपा नियुक्ति को नयी नियुक्ति मानकर ही वेतन निर्धारण किया जाता है और नई नियुक्ति में वेतन निर्धारण स्टायपेंड नियम से ही किया जा रहा है ।