GPF राशि क्या है ? निकासी के क्या है नियम ?

GPF यानी General provident Fund इसे हिंदी में सामान्य भविष्य निधि कहा जाता है। यह सरकारी कर्मचारियों के लिए बचत के साथ-साथ निवेश का एक बेहतर माध्यम है। Department of pension and pensioner’s Welfare जो Ministry of Personnel, Public Grievances and Pensions के अंतर्गत आता है, GPF का प्रबंधन करती है ।

GPF की गणना कैसे करते है ?

नीचे दिए गये चार्ट के अनुसार 7-8% के ब्याज की दर से इसकी गणना होती है |

OPS vs NPS
OPS vs NPS

GPF का लाभ किन्हें मिलता है ?

  • सभी स्थाई सरकारी कर्मचारी , जो भारतीय नागरिक है।
  • अस्थाई सरकारी कर्मचारी जिन्होंने लगातार 1 साल की सेवा पूरा कर लिया हो।
  • सेवानिवृत पेंशनर जिन्हें फिर से नियोजित किया गया हो। 
  • ऐसे संगठन के कर्मी जहां EPF act 1952 लागू होता है।

अंशदान का नियम-

  • कर्मचारी GPF एकाउंट में कर्मचारी को अंशदान देना होता है।
  • यह अंशदान कर्मचारी के वेतन का 6% से लेकर 100% तक हो सकता है।
  • कर्मचारी को हर माह अंशदान करना होता है। यह अंशदान सेवानिवृत्त के तीन माह पूर्व तक किया जाता है। यानी सेवानिवृति से 3 माह पहले अंशदान लेना बंद कर दिया जाता है।
  • यदि कर्मचारी निलंबित है तो उसे अंशदान नहीं करना होता है।

ब्याज

समय समय पर सरकार GPF में मिलने वाली ब्याज की घोषणा करती है। अभी यह दर 7.1 % है।

GPF Account Nomination –

  • GPF में जुड़ने के साथ परिवार के किसी सदस्य को Nominee के रूप नाम देना होता है।
  • एक या एक से अधिक सदस्य को अपना Nominee बना सकते है। लेकिन ऐसी स्थिति में उनके बीच, किसे कितना हिस्सा मिलेगा बताना होगा।
  • अवयस्क को भी आप Nominee बना सकते है।
  • आपको इसके लिए एक Nomination फॉर्म भरना होता है।
  • यदि कर्मचारी की मृत्यु हो जाती है, तो GPF में जमा राशि Nominee को दे दी जाती है।
  • मृत्यु की स्थिति में GPF में जमा राशि के अतिरिक्त राशि भी दी जाती है। यह राशि उस कर्मचारी की मृत्यु के ठीक 3 साल के औसत जमा के बराबर होगी, लेकिन यह ₹60000 तक ही हो सकती है।

GPF निकासी के नियम

सामान्य भविष्य निधि (संशोधन) नियमावली – अब उपभोक्ता के लिए फंड से अडवांस में पैसा निकालना आसान हो गया है ।अभी जीपीएफ से निकासी हेतु 15 साल की सेवा के बाद ही 75 फीसदी पैसा निकाल पाते थे, इस अवधि को घटाकर अब 15 की जगह 12 साल कर दिया है साथ ही निकाली गई इस राशि को वापस नहीं लौटाना होगा। इसी तरह नॉन रिफंडेबल एडवांस लेने के लिए अभी तक 12 साल की सीमा थी, जिसे अब 10 साल कर दिया है।

  1. शिक्षा (बच्चों की पढ़ाई), शादी, जमीन खरीदने, मकान बनाने, या फिर मकान ऋण चुकाने, पैतृक आवास की मरम्मत के लिए जमा GPF का 75% निकाला जा सकता है या अपने 12 माह के वेतन के बराबर जो भी कम हो।
  2. मेडिकल इमरजेंसी की स्थिति में 90% तक । नए नियम में यह 7 दिनों के अंदर मिल जाता है।
  3. गाड़ी खरीदने, कार लोन चुकाने, गाड़ी की मरम्मत के लिए भी निकासी की जा सकती है। 
  4. यदि नए गाड़ी खरीदने के लिये राशि निकालनी है तो यह जमा राशि का 75% या फिर गाड़ी की कीमत का ¾ जो भी कम हो।
  5. सेवानिवृति से 2 साल पहले बिना कारण बताये 90% तक राशि निकाली जा सकती है।
  6. अब यह भुगतान 15 दिनों के भीतर मिल जाता है । विशेष परिस्थितियों में 7 दिन के भीतर मिल जाता है ।
  7. अग्रिम और निकासी आवेदनों के लिए अब कोई भी दस्तावेज या प्रमाण प्रस्तुत करना आवश्यक नहीं है। इसमें ग्राहक की ओर से एक सामान्य घोषणापत्र ही काफी है ।

NOTE: यह आवश्यक है की जिन काम के लिए राशि निकाली गई है ,उसी में राशि खर्च करनी चाहिए।

अग्रिम की निकासी

  • GPF अग्रिम में कोई ब्याज नहीं लगता है।
  • 12 महीने की सेलेरी या GPF का 75% ले सकता है ।
  • कर्मचारी अपनी नौकरी में चाहे तो कितनी बार भी GPF खाते से अग्रिम ले सकता है।
  • निकासी हर छह महीने में एक से अधिक बार स्वीकार्य नहीं होगी, यानी किसी भी वित्तीय वर्ष में दो बार।
  • एक ही उद्देश्य के लिए केवल एक निकासी की अनुमति है। निकासी की राशि नियम 15 और 16 जीपीएफ (सीएस) नियम 1960 में निर्धारित की जाएगी।
  • एक वित्तीय वर्ष में कर्मचारी 6 महीने के आहरण के अंतराल के बाद अस्थायी अग्रिम या GPF अडवांस वापसी कर सकता है, ताकि एक वर्ष में केवल दो निकासी हो सकें।
  • यदि आप अभी पहले लिए हुए अग्रिम का भुगतान कर रहें है फिर भी आप नए अग्रिम के लिए आवेदन दे सकते है। ऐसे स्थिति में पहले के बकाये अग्रिम को नए अग्रिम के साथ जोड़ दिया जाता है और मासिक क़िस्त को निकाला जाता है ।
  • Re Payment – 60 महीने की किस्त में जमा कर सकते हैं
  • Time – 15 दिन या 7 दिन विशेष परिस्थितियों में

GPF अंतिम भुगतान की शर्तें –

  • कर्मचारी फंड में जमा का अंतिम निकासी सरकारी अधिकारी को देय होता है ।
  • जब कर्मचारी सेवानिवृत होता है तभी उसका GPF एकाउंट परिपक्व होता है।
  • 10 साल की नौकरी पूरा करने या सेवानिवृति के 10 साल पहले इसमें से जो भी पहले हो, कर्मचारी अपने GPF की राशि निकाल सकता है ।
  • जब कोई कर्मचारी सेवा छोड़ देता है
  • यदि कर्मचारी बीच में ही नौकरी छोड़ देता है,तो वह GPF में जमा राशि निकाल सकता है।
  • यदि कर्मचारी की मृत्यु हो जाती है, तो उसके GPF की राशि उसके नामित व्यक्ति (Nominee) को दे दी जाती है।

GPF अंतिम भुगतान के लिए आवेदन जमा करना –

खाते में जमा राशि के अंतिम निकासी के लिए कर्मचारी / दावेदार द्वारा विधिवत हस्ताक्षरित आवेदन सेवानिवृत्ति के तीन माह पूर्व विभाग को दिया जाना चाहिए और इसे महालेखाकार कार्यालय को ऑनलाइन एवं ऑफलाइन आवश्यक दस्तावेजों के साथ अग्रेषित किया जाना है । जीपीएफ खाता धारक की असामयिक मृत्यु, सेवा से त्यागपत्र, सेवा समाप्ति या हटाए जाने की स्थिति में सामान्य भविष्य निधि (जीपीएफ) का अंतिम भुगतान प्रकरण एक माह के भीतर महालेखाकार को प्रस्तुत करना होगा।

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